108 Names Of Hanuman Ji: सनातन धर्म में मंगलवार के दिन मर्यादा पुरुषोत्तम भगवान श्रीराम के परम भक्त हनुमान जी की पूजा-अर्चना की जाती है। इस दिन पूजा के समय हनुमान चालीसा, सुंदर कांड, रामायण का पाठ और हनुमान जी के 108 नामों का मंत्र जाप करें।
श्री हनुमान के 108 नाम मंत्र सुंदरकांड पाठ, हनुमान जन्मोत्सव, मंगलवार व्रत, शनिवार पूजा और बूढ़े मंगलवार में प्रमुखता से पाठ किया जाता है। साथ ही करियर-कारोबार में मनचाही सफलता पाने हेतु व्रत-उपवास रखा जाता है। हनुमान जी को संकट मोचन भी कहा जाता है। अतः बल, बुद्धि और विद्या के दाता हनुमान जी की पूजा-उपासना करने से काल, कष्ट, दुख और संताप दूर हो जाते हैं।
ज्योतिष भी मनचाही नौकरी (सरकारी नौकरी) प्राप्ति के लिए मंगलवार के दिन हनुमान जी की पूजा करने की सलाह देते हैं। मंगलवार के दिन हनुमान जी की पूजा करने से कुंडली में मंगल बली होता है। साथ ही अशुभ ग्रहों का प्रभाव समाप्त हो जाता है। करियर-कारोबार में तरक्की और उन्नति के लिए कुंडली में मंगल का मजबूत होना अनिवार्य है। अगर आप भी जीवन में व्याप्त दुख और संताप से निजात पाना चाहते हैं, तो मंगलवार के दिन विधि विधान से हनुमान जी की पूजा करें। अगर शारीरिक रूप से सक्षम हैं, तो हनुमान जी के निमित्त व्रत रखें। आइए, हनुमान जी के 108 नामों का मंत्र जाप करते हैं-
हनुमान जी के 108 मंत्र नाम ( 108 Mantra Names of Hanuman ji )
- ॐ आञ्जनेयाय नमः । Om Anjaneyaya Namah
- ॐ महावीराय नमः । Om Mahaviraya Namah
- ॐ हनूमते नमः । Om Hanumate Namah
- ॐ मारुतात्मजाय नमः । Om Marutatmajaya Namah
- ॐ तत्वज्ञानप्रदाय नमः । Om Tatvgyanpradaya Namah
- ॐ सीतादेविमुद्राप्रदायकाय नमः ।
- ॐ अशोकवनकाच्छेत्रे नमः ।
- ॐ सर्वमायाविभंजनाय नमः ।
- ॐ सर्वबन्धविमोक्त्रे नमः ।
- ॐ रक्षोविध्वंसकारकाय नमः ।
- ॐ परविद्या परिहाराय नमः ।
- ॐ परशौर्य विनाशनाय नमः ।
- ॐ परमन्त्र निराकर्त्रे नमः ।
- ॐ परयन्त्र प्रभेदकाय नमः ।
- ॐ सर्वग्रह विनाशिने नमः ।
- ॐ भीमसेन सहायकृथे नमः ।
- ॐ सर्वदुखः हराय नमः ।
- ॐ सर्वलोकचारिणे नमः ।
- ॐ मनोजवाय नमः ।
- ॐ पारिजात द्रुमूलस्थाय नमः ।
- ॐ सर्वमन्त्र स्वरूपवते नमः ।
- ॐ सर्वतन्त्र स्वरूपिणे नमः ।
- ॐ सर्वयन्त्रात्मकाय नमः ।
- ॐ कपीश्वराय नमः ।
- ॐ महाकायाय नमः ।
- ॐ सर्वरोगहराय नमः ।
- ॐ प्रभवे नमः ।
- ॐ बल सिद्धिकराय नमः ।
- ॐ सर्वविद्या सम्पत्तिप्रदायकाय नमः ।
- ॐ कपिसेनानायकाय नमः ।
- ॐ भविष्यथ्चतुराननाय नमः ।
- ॐ कुमार ब्रह्मचारिणे नमः ।
- ॐ रत्नकुण्डल दीप्तिमते नमः ।
- ॐ चञ्चलद्वाल सन्नद्धलम्बमान शिखोज्वलाय नमः ।
- ॐ गन्धर्व विद्यातत्वज्ञाय नमः ।
- ॐ महाबल पराक्रमाय नमः ।
- ॐ काराग्रह विमोक्त्रे नमः ।
- ॐ शृन्खला बन्धमोचकाय नमः ।
- ॐ सागरोत्तारकाय नमः ।
- ॐ प्राज्ञाय नमः ।
- ॐ रामदूताय नमः ।
- ॐ प्रतापवते नमः ।
- ॐ वानराय नमः ।
- ॐ केसरीसुताय नमः ।
- ॐ सीताशोक निवारकाय नमः ।
- ॐ अन्जनागर्भ सम्भूताय नमः ।
- ॐ बालार्कसद्रशाननाय नमः ।
- ॐ विभीषण प्रियकराय नमः ।
- ॐ दशग्रीव कुलान्तकाय नमः ।
- ॐ लक्ष्मणप्राणदात्रे नमः ।
- ॐ वज्रकायाय नमः ।
- ॐ महाद्युथये नमः ।
- ॐ चिरञ्जीविने नमः ।
- ॐ रामभक्ताय नमः ।
- ॐ दैत्यकार्य विघातकाय नमः
- ॐ अक्षहन्त्रे नमः ।
- ॐ काञ्चनाभाय नमः ।
- ॐ पञ्चवक्त्राय नमः ।
- ॐ महातपसे नमः ।
- ॐ लन्किनी भञ्जनाय नमः ।
- ॐ श्रीमते नमः ।
- ॐ सिंहिकाप्राण भञ्जनाय नमः ।
- ॐ गन्धमादन शैलस्थाय नमः ।
- ॐ लङ्कापुर विदायकाय नमः ।
- ॐ सुग्रीव सचिवाय नमः ।
- ॐ धीराय नमः ।
- ॐ शूराय नमः ।
- ॐ दैत्यकुलान्तकाय नमः ।
- ॐ सुरार्चिताय नमः ।
- ॐ महातेजसे नमः ।
- ॐ रामचूडामणिप्रदायकाय नमः ।
- ॐ कामरूपिणे नमः ।
- ॐ पिङ्गलाक्षाय नमः ।
- ॐ वार्धिमैनाक पूजिताय नमः ।
- ॐ कबळीकृत मार्ताण्डमण्डलाय नमः ।
- ॐ विजितेन्द्रियाय नमः ।
- ॐ रामसुग्रीव सन्धात्रे नमः ।
- ॐ महारावण मर्धनाय नमः ।
- ॐ स्फटिकाभाय नमः ।
- ॐ वागधीशाय नमः ।
- ॐ नवव्याकृतपण्डिताय नमः ।
- ॐ चतुर्बाहवे नमः ।
- ॐ दीनबन्धुराय नमः ।
- ॐ मायात्मने नमः ।
- ॐ भक्तवत्सलाय नमः ।
- ॐ संजीवननगायार्था नमः ।
- ॐ सुचये नमः ।
- ॐ वाग्मिने नमः ।
- ॐ दृढव्रताय नमः ।
- ॐ कालनेमि प्रमथनाय नमः ।
- ॐ हरिमर्कट मर्कटाय नमः ।
- ॐ दान्ताय नमः ।
- ॐ शान्ताय नमः ।
- ॐ प्रसन्नात्मने नमः ।
- ॐ शतकन्टमुदापहर्त्रे नमः ।
- ॐ योगिने नमः ।
- ॐ रामकथा लोलाय नमः ।
- ॐ सीतान्वेषण पण्डिताय नमः ।
- ॐ वज्रद्रनुष्टाय नमः ।
- ॐ वज्रनखाय नमः ।
- ॐ रुद्र वीर्य समुद्भवाय नमः ।
- ॐ इन्द्रजित्प्रहितामोघब्रह्मास्त्र विनिवारकाय नमः ।
- ॐ पार्थ ध्वजाग्रसंवासिने नमः ।
- ॐ शरपञ्जर भेदकाय नमः ।
- ॐ दशबाहवे नमः ।
- ॐ लोकपूज्याय नमः ।
- ॐ जाम्बवत्प्रीतिवर्धनाय नमः ।
- ॐ सीतासमेत श्रीरामपाद सेवदुरन्धराय नमः ।
॥ इति श्रीहनुमानष्टोत्तरशतनामावलिः सम्पूर्णा ॥
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